बेटी बचाओ

Author Photo SONIA PARUTHI Sun 2nd Oct 2016      Write your Article
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बेटी बचाओ

बेटा हो या बेटी ,है तो अपने आँगन का ही फूल , तो फिर आज के युग में बेटी का जन्म होने से पहले ही एक बेटी को माँ की कोख में ही मार दिया जाता है। उसे भी जीने का हक है। लोगो का मानना है कि जो मम्मी और पापा को स्वग॔ ले जाता है वह बेटा होता है।पर शायद लोग इस बात से अनभिज्ञ हैं कि जो स्वग॔ को घर ले आए वह बेटी होती है।जानते हो कि बिन बेटी का घर और बिना टायर वाली कार में कोई अंतर नहीं है।अगर बेटा मान है तो बेटी शान होती है।न जाने क्यों बेटियों को बोझ  समझा जाता है। हर बार बेटी को समझाया जाता है। क्या कभी किसी बेटे को समझाया है कि जिस बेटी के साथ वह खिलवाङ करने कि कोशिश करता है वह भी किसी की बहन है।अगर एक बेटी को जन्म देते हो तो वह एक निशानी बन जाती है पर अगर उसे खो देते हो तो वह केवल एक कहानी बनकर रह जाती है।बेटी सिफ॔ उन्हीं के घर में जन्म लेती हृ जो उसे पालने की हैसियत रखता हो।जानते हो कि एक बेटी के साथ बहुत छोटा सा सफर होता है क्योंकि बहुत कम समय के लिए होती हैं ये हमारे साथ इसलिए इसकी मोहब्बत को कभी आजमाना नहीं, वो फूल है उसे कभी रुलाना नहीं। सन्सार में हर व्यक्ति को माँ चाहिए , बहन चाहिए, बीवी चाहिए और हाँ गल॔ फैंड भी चाहिए तो फिर बेटी क्यों नहीं चाहिए। आखिर उस नन्ही परी का कसूर क्या है।जिस घर में बेटी जन्म लेती है वो घर किस्मत वाला होता है और उन्हें मैं बताना चाहूँगी कि अपनी बेटी को चाँद जैसा मत बनाओ कि हर कोई घूर- घूर के देखे ,  अपनी बेटी को सूरज जैसा बनाओ कि घूरने से पहले  ही सबकी नजरें झुक जाएँ। 

धन्यवाद।

सोनिया परूथी
ऐमिनिटी पब्लिक स्कूल
कक्षा 10

आज फिर हमें अपना बनाने की कोशिश कर रहे हैं

Author  Photo Madhu Bhagat   (Thu 13th Apr 2017) आज फिर हमें अपना बनाने  की कोशिश कर रहे हैं
खोये अहसास आज फिर दरवाजे पे दस्तक दे रहे हैं
आखों में अश्क लिए हमको आज भी अपना खास बता रहे है
वक्त से मजबूर थे हम कहकर
आज फिर हमसे झूठ बोलने की खता कर रहे है
एक अरसे बाद लौटे है हमारे जिंदगी में
आज फिर हमें अपना बनाने की कोशिश कर रहे हैं |

वो हमसे इश्क की फरियाद कर रहे हैं
आज फिर.... Read More

Khwav tumhare pure honge

Author  Photo Pandit Sanjay Sharma 'aakrosh'   (Sun 1st Feb 2015) Khwav tumhare pure honge
Khwav tumhare pure honge

Pryas tumhara kafi hai

Manjil tumhari raah Dekh rahi

Bas arman tumhara kafi hai

ROK sake Jo manjil Teri
.... Read More

तेरी झूठी मोहब्बत से रिहा होकर बेहद सुकूँ पाया है...☺

Author  Photo Shrivastva MK   (Tue 19th Jun 2018) तेरी झूठी मोहब्बत से रिहा होकर बेहद सुकूँ पाया है...☺
जो कल तक तुझपे अपनी ज़िंदगी लुटाया करते थे,
रोते हुए भी तेरे सामने झूठी मुस्कान दिखाया करते थे,
आज अरसे बाद खुद की ज़िंदगी जी पाया है,
तेरी झूठी मोहब्बत से रिहा होकर बेहद सुकूँ पाया है,

हम तो तेरे हर ज़ख्म पर मरहम लगाया करते थे,
Busy रहते हुए भी तेरे लिए ख़ुद को free बताया करते थे,
हम वफ़ा करते ग.... Read More

PYAR KE DEEP...

Author  Photo Shrivastva MK   (Tue 10th Oct 2017) PYAR KE DEEP...
Pyar ke deep jalayenge hum,
Mil kar sath sabhi
Desh ki takat ko badhayenge hum,
Es desh ki mitti hamari hain,
Yahi par janam liya hain
yahi par mar jayenge hum,
Pyar ke deep jalayenge hum,

Mita ke nafrat logon me
phir se bhaichara layenge hum,.... Read More

नादान चाहत

Author  Photo Pandit Sanjay Sharma 'aakrosh'   (Thu 12th May 2016) नादान चाहत
थी नादान चाहत
गमों के उजाले
पड़ गए अब तो जैसे
इस दिल में छाले
नहीं साथ देंगे
कभी दुनिया वाले
जाने हम कैसे
जिंदगी थे सम्भाले

पं संजय शर्मा 'आक्रोश'.... Read More

Jindgi meri ik Khwav ban gai

Author  Photo Pandit Sanjay Sharma 'aakrosh'   (Sat 31st Jan 2015) Jindgi meri ik Khwav ban gai
Jindgi meri ik khwav ban gai

Kanto bhara vo taj ban gai

Kisne lagai vo aage ban gai

Jindgi meri lajwav ban gai

Jindgi meri..,..................
.... Read More

Farishtey

Author  Photo SONIA PARUTHI   (Sat 26th May 2018) Farishtey
Hai ye khubsurat farishtey
Banate hai kuch anmol rishtey
Dada ka pyaar
Dadi ka dulaar
Itna hai keemti
Na Koi heera moti
Milte hai naseebo se
Chodhte hai chhap dil pe
Inke bina hai bachpan adhura
Krte hai ye humko pura .... Read More

PAISA(MONEY)

Author  Photo Shrivastva MK   (Wed 4th Oct 2017) PAISA(MONEY)
Maine paise ke liye insaan ko badalte dekha hai,
Maine paise ke liye insaan ko tadapate dekha hai,
Ye bhagwan to nahi par,
Iske liye insaan ko marte dekha hai,

Maine Paise ke liye kisi ko kadi dhup me jalte dekha hai,
Maine Paise ke liye kisi ko thand me tadapte dekha hai,
Ye grihdata to nah.... Read More

चंद ख्वाव

Author  Photo Pandit Sanjay Sharma 'aakrosh'   (Fri 6th May 2016) चंद ख्वाव
चन्द ख्वाव चंद उम्मीदें लिए फिरता हूँ
समुन्दर से आसमाँ का पता पूछ लिया करता हूँ
रात अमावस की कितनी भी काली हो
खुद अँधेरों में जी लिया करता हूँ
चोट खाकर लगाईं उम्मीदें
खुद ही जख्मों को सी लिया करता हूँ
आँधियों की इस बस्ती में
खुद की हस्ती बना लिया करता हूँ
आसमाँ की बुलन्दी पर
खुद नजरें जमा ल.... Read More